पेट के रोग : यकृत (लीवर) एवं प्लीहा (तिल्ली) (Spleen) के रोग
यकृत (लीवर) एवं प्लीहा (तिल्ली) (Spleen) के रोगः
पहला प्रयोगः प्रतिदिन प्रातःकाल खाली पेट एक चुटकी साबूत चावल निगलकर ऊपर से पानी पीने पर लीवर के रोगी को आराम मिलता है।दूसरा प्रयोगः सुदर्शनवटी 1 से 4 गोली दिन में तीन बार लेने से लीवर और प्लीहा के दर्द में राहत होती है।
तीसरा प्रयोगः 20 से 50 मिलिलीटर अनार का रस पीने से अथवा 20 मिलिलीटर कुंवारपाठे के रस में 1 से 5 ग्राम हल्दी मिलाकर पीने से लाभ होता है।
चौथा प्रयोगः प्लीहा (तिल्ली) की वृद्धि में पपीते की पुल्टिस बनाकर बाँधने से एवं दिन में 3 बार पपीते का आधा चम्मच दूध एक चम्मच मिश्री मिलाकर खिलाने से लाभ होता है।
एलोपैथी में लीवर का कोई भी इलाज नहीं है।
पेट के रोग : यकृत (लीवर) एवं प्लीहा (तिल्ली) (Spleen) के रोग
Reviewed by ritesh
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1:22 AM
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